😊बावरी होली😊
अंग अंग में भरी उमंग
मन में उठी अजब तरंग
चढ़ा प्यार का ऐसा रंग
मानो देह हुई पतंग
अब के आई अनोखी होली
मन आंगन रची रंगोली
बदले बदले सारे ढंग
मानो देह हुई पतंग
तुम बिन तो घबराऊँ मैं
आ मिलो शरमाऊं मैं
जैसे चढ़ी हो मोहे भंग
मानो देह हुई पतंग
यही है रस्म यही रीत
दोनों की है इस में जीत
यहाँ छिड़ी है प्यार की जंग
मानो देह हुई पतंग
जी भर फाग गाऊँ मैं
संग नाचती जाऊँ मैं
बाजे मंजीरे बाजे चंग
मानो देह हुई पतंग
मौसम बदले कितने रंग
अच्छा लागे पिया का संग
मन हुआ यों मलंग
मानो देह हुई पतंग
रंगों के इस त्यौहार पर हमारी ओर से सतरंगी शुभकामनाएं 🙏
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